वास्तव में दिल की धड़कन कोई रोग नहीं है। किन्तु जब दिल तेजी से धड़कने लगता है मनुष्य के शरीर में कमजोरी आ जाती है , माथे पर हल्का पसीना उभर आता है तथा पैर लड़खड़ाने लगते हैं।
थोड़ा सा भी परिश्रम करने पर , तेज चलने पर उठने - बैठने पर या इसी प्रकार के अन्य कार्य करने पर दिल की धड़कन असामान्य हो जाती है। दिल की धड़कन असामान्य होना दिल की कमजोरी का प्रतीक होता है। इससे रक्तसंचार भी बढ़ जाता है और घबराहट सी होने लगती हैं।
दिल की धड़कन बढ़ने के कारण
1 . मानसिक उत्तेजना।
2 . स्नायु में किसी प्रकार की बीमारी।
3 . उत्तेजित पदार्थों को खाना।
4 . डर।
5 . बहोत ज्यादा परिश्रम करना।
6 . शोक।
7 .अधिक मात्रा में चाय , कॉफी , शराब आदि के सेवन से भी दिल की धड़कन तेज हो जाती है।
8 . शारीरिक कमजोरी।
9 . भावनात्मक एहसास के कारण भी दिल की धड़कन बढ़ने की संभावना अधिक होती हैं।
10 . कुछ लोगों में अधिक खाने के कारण भी दिल की धड़कन असामान्य हो जाती हैं।
11 . हाई या लो बीपी।
12 . खून की कमी।
13 . एक्सरसाइज।
14 . विशेष ह्रदय रोग।
दिल की धड़कन तेज होने के लक्षण
1 . इस रोग में कलेजा जोर - जोर से धड़कने लगता हैं।
2 . शरीर में कमजोरी आ जाती हैं।
3 . कुछ लोगों को बैचनी भी महसूस होती हैं।
4 . शरीर में शुष्कता कंठ में खुश्की , प्यास , तन्द्रा , अजीर्ण , भूख न लगना , दिल का जैसे बैठ जाना जैसे लक्षण दिखाई देते हैं।
5 . हाथ - पैर ठंडे होने लगते हैं।
6 . सांस लेने में कठिनाई होती हैं।
7 . चक्कर आना।
दिल की धड़कन बढ़ने का घरेलू इलाज
1 .गाय के दूध में किशमिश तथा बादाम डालकर औटाएं। फिर शक्कर डालकर घूंट - घूँटकर पी लें।
2 . पिस्ते की लौज खाने से ह्रदय की धड़कन ठीक हो जाती हैं।
4 . भोजन के बाद चार चम्मच अंगूर का रस पिएं।
5 . गुलाब की पंखड़ियों को सुखाकर पीस लें। फिर इसमें धनिया का चूर्ण समभाग में मिलाएं। एक चम्मच चूर्ण खाकर ऊपर से आधा लीटर दूध पिएं।
6 . अनार के कोमल कलियों की चटनी बनाकर एक चम्मच मात्रा में सुबह के समय निहार मुँह खाएं। लगभग एक सप्ताह सेवन करने से दिल की धड़कन सही रास्ते पर आ जाती हैं।
7 . 200 ग्राम सेब को छिलके सहित छोटे - छोटे टुकड़े करके आधा लीटर पानी में डाल दें। फिर इस पानी को आंच पर रखें। जब पानी जलकर एक कप रह जाए तो मिश्री डालकर सेवन करें। यह दिल को मजबूत करती हैं।
8 . आंवले के चूर्ण में मिश्री मिलाकर एक चम्मच की मात्रा में भोजन के बाद खाएं। यह दिल की धड़कन सामान्य करता हैं।
12 . दिल धड़कने पर जरा सा कपूर जीभ पर रखकर चूसें।
13 . आधे सेब के रस में चार कालीमिर्च का चूर्ण तथा एक चुटकी सेंधा नमक मिलाकर पिएं।
14 . बड़ी इलायची के दानों को पीसकर चूर्ण बना लें। इसमें से चौथाई चम्मच चूर्ण शहद मिलाकर खाएं।
15 . टमाटर के रस में पीपल के पेड़ के तने की छाल का चूर्ण 4 ग्राम मिलाकर सेवन करें। टमाटर के रस की मात्रा आधी कप होनी चाहिए।
16 . पानी में आधा नींबू निचोड़े तथा उसमें दो चुटकी खाने वाला सोडा डालें। नींबू पानी को पीने से दिल की धड़कन सामान्य हो जाती हैं।
17 . आधा चम्मच अजवायन तथा एक चुटकी सेंधा नमक दोनों को पीसकर गुनगुने पानी के साथ खाएं। यह नुस्खा दिल की धड़कन को सामान्य बना देता हैं।
18 . राई पीसकर छाती पर मलने से भी दिल को काफी आराम मिलता हैं।
19 . मुलैठी का चूर्ण 4 ग्राम सुबह - शाम घी या शहद के साथ सेवन करने से ह्रदय के समस्त रोगों में लाभ होता हैं।
20 . अनार के ताजे पत्तों को 10 - 50 ग्राम की मात्रा में पीसकर 100 मिलीलीटर पानी में मिलाकर , उस पानी को छानकर प्रतिदिन सुबह - शाम पीने से दिल की धड़कन सामान्य हो जाती हैं।
21 . लहसुन की तीन कलियों का रस एक गिलास पानी में डालकर रोगी को देने से दिल की बड़ी हुई धड़कन में लाभ होगा।
22 . छोटी इलायची का चूर्ण 1 से 2 ग्राम पिप्पलीमूल के साथ घी मिलाकर सुबह - शाम सेवन करने से लाभ होता हैं।
23 . बेल की जड़ का काढ़ा सुबह - शाम सेवन करने से ह्रदय की धड़कन नियंत्रित हो जाती हैं।
24 . सफ़ेद गुलाब की पंखड़ियों का रस 10 से 20 मिलीलीटर सुबह - शाम सेवन करने से ह्रदय की धड़कन में लाभ होता हैं।
25 . फालसा के फलों का शरबत बनाकर सुबह - शाम सेवन करने से लाभ होता हैं।
26 . शहतूत का शरबत बनाकर पीने से ह्रदय की बड़ी हुई धड़कन सामान्य हो जाती हैं।
27 . बरगद के कोमल हरे पत्तों को 10 ग्राम की मात्रा में पीसकर 150 ग्राम पानी में मिलाकर , छानकर थोड़ी से मिश्री मिलाकर सुबह - शाम सेवन करने से तेज धड़कन सामान्य होती हैं।
28 . आंवले का मुरब्बा या शरबत दिल की धड़कन को सामान्य बनाता हैं।
29 . यदि दिल की धड़कन तेज मालुम पड़े और घबराहट बढ़ जाए तो सूखा धनिया एक चम्मच और मिश्री एक चम्मच दोनों को मिलाकर पीने से धड़कन सामान्य हो जाएगी।
30 . एक गिलास गर्म दूध में स्वादानुसार मिश्री या शहद दस भीगी हुई किशमिश उसी भिगोये हुए पानी में पीसकर मिला दें। इस रोज 40 दिन तक पिए ह्रदय की धड़कन कम होगी , शरीर में शक्ति आएगी।
नोट :- इस लेख में बताये गए नुस्खे आपकी जानकारी के लिए है। कोई भी उपाय करने से पहले डॉक्टर से सलाह जरूर लें। पहले से ली जा रही कोई भी दवा बंद न करें। असुविधा होने पर इस साइट की कोई भी जिम्मेदारी नहीं होगी।
7 . 200 ग्राम सेब को छिलके सहित छोटे - छोटे टुकड़े करके आधा लीटर पानी में डाल दें। फिर इस पानी को आंच पर रखें। जब पानी जलकर एक कप रह जाए तो मिश्री डालकर सेवन करें। यह दिल को मजबूत करती हैं।
8 . आंवले के चूर्ण में मिश्री मिलाकर एक चम्मच की मात्रा में भोजन के बाद खाएं। यह दिल की धड़कन सामान्य करता हैं।
9 .पके पपीते का रस एक कप की मात्रा में भोजन के बाद सेवन करें।
10 . आधा कप गाजर का रस गरम करके दोपहर के समय प्रतिदिन पियें।
11 . सेब का मुरब्बा चांदी का वर्क लगाकर खाएं। 12 . दिल धड़कने पर जरा सा कपूर जीभ पर रखकर चूसें।
13 . आधे सेब के रस में चार कालीमिर्च का चूर्ण तथा एक चुटकी सेंधा नमक मिलाकर पिएं।
14 . बड़ी इलायची के दानों को पीसकर चूर्ण बना लें। इसमें से चौथाई चम्मच चूर्ण शहद मिलाकर खाएं।
15 . टमाटर के रस में पीपल के पेड़ के तने की छाल का चूर्ण 4 ग्राम मिलाकर सेवन करें। टमाटर के रस की मात्रा आधी कप होनी चाहिए।
16 . पानी में आधा नींबू निचोड़े तथा उसमें दो चुटकी खाने वाला सोडा डालें। नींबू पानी को पीने से दिल की धड़कन सामान्य हो जाती हैं।
17 . आधा चम्मच अजवायन तथा एक चुटकी सेंधा नमक दोनों को पीसकर गुनगुने पानी के साथ खाएं। यह नुस्खा दिल की धड़कन को सामान्य बना देता हैं।
18 . राई पीसकर छाती पर मलने से भी दिल को काफी आराम मिलता हैं।
19 . मुलैठी का चूर्ण 4 ग्राम सुबह - शाम घी या शहद के साथ सेवन करने से ह्रदय के समस्त रोगों में लाभ होता हैं।
20 . अनार के ताजे पत्तों को 10 - 50 ग्राम की मात्रा में पीसकर 100 मिलीलीटर पानी में मिलाकर , उस पानी को छानकर प्रतिदिन सुबह - शाम पीने से दिल की धड़कन सामान्य हो जाती हैं।
21 . लहसुन की तीन कलियों का रस एक गिलास पानी में डालकर रोगी को देने से दिल की बड़ी हुई धड़कन में लाभ होगा।
22 . छोटी इलायची का चूर्ण 1 से 2 ग्राम पिप्पलीमूल के साथ घी मिलाकर सुबह - शाम सेवन करने से लाभ होता हैं।
23 . बेल की जड़ का काढ़ा सुबह - शाम सेवन करने से ह्रदय की धड़कन नियंत्रित हो जाती हैं।
24 . सफ़ेद गुलाब की पंखड़ियों का रस 10 से 20 मिलीलीटर सुबह - शाम सेवन करने से ह्रदय की धड़कन में लाभ होता हैं।
25 . फालसा के फलों का शरबत बनाकर सुबह - शाम सेवन करने से लाभ होता हैं।
26 . शहतूत का शरबत बनाकर पीने से ह्रदय की बड़ी हुई धड़कन सामान्य हो जाती हैं।
27 . बरगद के कोमल हरे पत्तों को 10 ग्राम की मात्रा में पीसकर 150 ग्राम पानी में मिलाकर , छानकर थोड़ी से मिश्री मिलाकर सुबह - शाम सेवन करने से तेज धड़कन सामान्य होती हैं।
28 . आंवले का मुरब्बा या शरबत दिल की धड़कन को सामान्य बनाता हैं।
29 . यदि दिल की धड़कन तेज मालुम पड़े और घबराहट बढ़ जाए तो सूखा धनिया एक चम्मच और मिश्री एक चम्मच दोनों को मिलाकर पीने से धड़कन सामान्य हो जाएगी।
30 . एक गिलास गर्म दूध में स्वादानुसार मिश्री या शहद दस भीगी हुई किशमिश उसी भिगोये हुए पानी में पीसकर मिला दें। इस रोज 40 दिन तक पिए ह्रदय की धड़कन कम होगी , शरीर में शक्ति आएगी।
नोट :- इस लेख में बताये गए नुस्खे आपकी जानकारी के लिए है। कोई भी उपाय करने से पहले डॉक्टर से सलाह जरूर लें। पहले से ली जा रही कोई भी दवा बंद न करें। असुविधा होने पर इस साइट की कोई भी जिम्मेदारी नहीं होगी।
1 comment:
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